शिव कथा का श्रवण करने से भगवान शिव भक्तों पर प्रसन्न होते हैं
देवास। सावन के महीने की महिमा का अत्यधिक महत्व है। इस महीने में माता पार्वती ने शिव की घोर तपस्या की थी और भगवान शिव ने उन्हें दर्शन दिए थे। श्री राम मंदिर इटावा पर आयोजित शिव महापुराण कथा के प्रारंभ में कथा वाचक पंडित आशीष अग्निहोत्री ने श्रावण मास में शिव पूजन की महत्वता को बताते हुए कहा कि भगवान शिव को श्रावण मास अधिक प्रिय है। क्योंकि इस माह में सबसे अधिक वर्षा होने के आसार रहते हैं जो शिव के गर्म शरीर को ठंडक प्रदान करता है। भगवान शंकर ने स्वयं सनत्कुमारो को सावन महीने की महिमा बताई है कि मेरे तीनों नेत्रों में सूर्य दाहिने, बाए में चंद्र और अग्नि मध्य नेत्र है। सावन माह में व्रत, दान व पूजा पाठ तथा भगवान शिव की कथा श्रवण करने से भगवान भक्तों पर प्रसन्न होते हैं एवं उनका जीवन सफल बनाते हैं। प्रथम दिवस कथा प्रारंभ होने के पूर्व मंदिर समिति अध्यक्ष दिलीप बांगर, श्रीमती आशा बांगर ने शिव ग्रंथ का पूजन कर कथा वाचक जी का पुष्पमाला से स्वागत किया। संगीतमय में शिव महापुराण कथा में पधारे अतिथियों का भेरू सिंह ठाकुर, संतोष सिंह चावड़ा, राधेश्याम कारपेंटर, सुमेर सिंह तोमर, मुकुल बांगर ने स्वागत करते हुए शहर के शिव भक्तों से आग्रह किया कि 31 जुलाई से 6 अगस्त तक प्रतिदिन दोपहर 2 बजे से प्रारंभ होने वाली शिव महापुराण कथा में अधिक से अधिक संख्या में उपस्थित होकर पूर्ण लाभ लेवे।